This bundle of luck can open the doors of wealth:-

Four main days have been mentioned in the scriptures for attaining Lakshmi. These are the four times of the year when the goddess of wealth Mahalakshmi herself roams on earth. The first time of the year is Akshaya Tritiya, the second time of the year is Sharad Purnima, the third time of the year is Kartik Amavasya i.e. Deepawali and the fourth time of the year is Kartik Purnima i.e. Dev Deepawali. These are four such times on which Goddess Mahalakshmi showers wealth on the entire world with her blessed hands, but in the scriptures Lakshmi has been called fickle, i.e. the goddess of wealth does not stay anywhere. In the mythological and tantra scriptures, many efforts, attempts and rituals have been mentioned to keep the goddess of wealth stable. But these rituals and efforts are very difficult and expensive, which is almost impossible for a common man to do in today’s busy modern times, but in the mythological and tantra scriptures, some simple measures and materials have also been mentioned to keep the goddess of wealth stable in your home and establishment.

Through this article, we tell our readers how we can make a bundle of luck with this rare material and keep the goddess of wealth Lakshmi stable in our home and establishment by tying it. This bundle of luck can be made by combining miraculous, rare and such precious items which are very dear to Goddess Mahalakshmi. It is mentioned in Indian scriptures that if Goddess Mahalakshmi is worshipped with these materials and using them in a scriptural way, then all the desired desires are fulfilled. Eight forms of Mahalakshmi have been mentioned in the scriptures and Mahalakshmi has also been called Samudra-Vasani, that is, Mahalakshmi resides in the Kamal Van in the middle of the ocean. The scriptures have said that all the rare items found in the sea, river and pond are dear to Lakshmi, so this bundle of luck contains eight rare items for Ashta Lakshmi. Along with this, many items that attract Lakshmi ji can be kept.

If it cannot be kept on these dates, then it can be kept on any Friday.

Yes, Lakshmi Dhan Potli can be made on Friday. Friday is considered to be the day of Maa Lakshmi. On this day, by worshipping Goddess Lakshmi, the goddess of wealth, she gets pleased quickly. Therefore, on Friday, Dhan Potli should be made and touched to the feet of Maa Lakshmi and then it should be kept in the safe or the place where money is kept. This bundle can also be kept at the place of business.

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यह किस्मत की पोटली खोल सकती है धन के द्वार:-

शास्त्रों में लक्ष्मी प्राप्ति के लिए चार प्रमुख दिन बताए गए हैं। यह साल के वो चार ऐसे महूर्त हैं जब धन की देवी माहलक्ष्मी स्वयं धरती पर विचरती हैं। साल का पहला महूर्त होता है अक्षय तृतिया, साल का दूसरा महूर्त है शरद पूर्णिमा, साल का तीसरा महूर्त है कार्तिक अमावस्या अर्थात दीपावली और साल का चौथा महूर्त है कार्तिक पुर्णिमा अर्थात देव दीपावली। यह चार ऐसे महूर्त हैं जिस पर देवी महालक्ष्मी अपने वरद हस्तों से खुलकर समस्त संसार पर धन वर्षा करती हैं परंतु शास्त्रों में लक्ष्मी को चपला कहा गया है अर्थात धन की देवी कहीं टिकती नहीं है। पौराणिक व तंत्र शास्त्रों में धन की देवी की स्थिर रखने के लिए अनेक यतन, प्रयास व अनुष्ठान बताए गए हैं। परंतु यह अनुष्ठान व प्रयास अत्यंत कठिन व ख़र्चीले हैं जिसे आज के बिज़ी मॉडर्न टाइम में आम व्यक्ति के लिए करना लगभग असंभव जैसा है परंतु पौराणिक व तंत्र शास्त्रों में धन की देवी को अपने घर व प्रतिष्ठान में स्थिर रखने के लिए कुछ सरल उपाय व सामाग्री भी बताई गई है।

 

इस लेख के माध्यम से हम अपने पाठकों को बताते हैं की कैसे इस दुर्लभ सामाग्री को हम किस्मत की पोटली बनाकर धन की देवी लक्ष्मी को अपने घर व प्रतिष्ठान में कैसे बांधकर स्थिर कर सकते हैं। इस किस्मत की पोटली को चमत्कारिक, दुर्लभ एवं ऐसी बहुमूल्य वस्तुओं को एक साथ सम्मिलित कर निर्मित किया जा सकता है जो देवी महालक्ष्मी को अत्यधिक प्रिय हैं। भारतीय धर्मग्रंथों में ऐसा उल्लिखित है कि यदि देवी महालक्ष्मी का पूजन इन सामग्रियों के साथ तथा इनका उपयोग कर शास्त्रसम्मत विधि से किया जाय तो सभी अभीष्ट अभिलाषाएं पूर्ण होती हैं। शास्त्रों में महालक्ष्मी के आठ स्वरूप बताए गए हैं और महालक्ष्मी को समुद्र-वासनी भी कहा गया है अर्थात महालक्ष्मी का वास कमल वन में समुद्र के मध्य है। शास्त्रों ने समुद्र, नदी व पोखर से मिलने वाले सभी दुर्लभ प्रदार्थों को लक्ष्मी प्रिय बताया है अतः इस किस्मत की पोटली में अष्ट लक्ष्मी हेतु आठ दुर्लभ सामग्री होती है। साथ ही अनेक वस्तुए जो लक्ष्मी जी को आकर्षित करतीं है सभी रखी जा सकती है ।
अगर इन तिथियों में नहीं रखा सकते है तब किसी भी शुक्रवार को रखा सकते है ।

हां, शुक्रवार के दिन लक्ष्मी धन पोटली बनाई जा सकती है. शुक्रवार को मां लक्ष्मी का दिन माना जाता है. इस दिन धन की देवी मां लक्ष्मी की पूजा करने से वे शीघ्र प्रसन्न होती हैं. इसलिए, शुक्रवार के दिन धन पोटली बनाकर मां लक्ष्मी के चरणों पर स्पर्श कराना चाहिए और फिर इसे तिजोरी या धन रखने की जगह पर रख देना चाहिए. व्यापार स्थल पर भी यह पोटली रखी जा सकती है.।

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